गणेश चतुर्थी पर्व के दौरान महाराष्ट्र के घरों में बनाए जाने वाला मोदक बप्पा जी का सबसे खास प्रिय व्यंजन में से एक है। इसलिए महाराष्ट्र में घरों में मोदक बनाकर गणेश जी को भोग के रूप में अर्पित किया जाता है। इसमें ज्यादा सामग्री का प्रयोग नहीं किया जाता है। असानी से बनाई जाने वाली यह रेसिपी सबसे खास है और इसे बनाने में घी का उपयोग ना के बराबर होता है। इसलिए आप बप्पा के इस स्वादिष्ट और हेल्थी प्रसाद को जितना चाहें उतना खा सकते हैं।
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आवश्यक सामग्री:
- 2 कप- चावल का आटा
- 1.5 कप- गुड़ के छोटे-छोटे टुकड़े
- 2 कप कच्चा- नारियल कद्दूकस किया हुआ
- 4 बड़े चम्मच – काजू बारीक कटे हुए
- 2-3 बड़े चम्मच – किशमिश
- 1 बड़े चम्मच – खसखस (गर्म कढ़ाई में भून लें )
- 5-6 – हरी इलाइची (कूटी हुई)
- 1 बड़े चम्मच – घी
- आधी छोटी चम्मच – नमक
बनाने का तरीका-
- सबसे पहले गुड़ के छोटे-छोटे टुकड़े करके उसे कढा़ई में डाल कर को गर्म करने के लिए रख दें। साथ ही बारीक कद्दूकस किया हुआ नारियल भी गुड़ के साथ पानी में डाल कर अच्छी तरह से मिला दें। दोनों मिश्रण को चम्मच से लगातार चलाते हुए तब तक भूने जब तक की ये घोल पिघलकर गाढ़ा ना हो जाये। जब यह मिश्रण अच्छी तरह से गाढ़ा हो जाए तो उसमें इलाइची पाउडर, किशमिश, काजू, और खसखस मिला दें। अब मोदक में भरने वाली पिट्ठी बनकर तैयार है।
- अब 1 छोटी चम्मच घी को 2 कप पानी में डाल कर गर्म करने के लिए रखें। जब पानी गर्म होकर उबालने लगे तो गैस बंद कर दें। इसके बाद चावल के आटे में नमक डालकर इसको गर्म किए गए पानी में डाल दें और इसे चम्मच से चला कर अच्छी तरह से मिला लें। इस मिश्रण को 5 मिनट के लिए ढक कर रख दें।
- कुछ देर आप चावल के आटे को बड़े से बर्तन में निकाल कर उसे गूंथ कर मुलायम करें। ध्यान रहे यह ज्यादा सख्त ना हो। आटे के गूंथ जाने के बाद इसे साफ कपड़े से ढक कर रख दें।
- आटे के गूंथ जाने के बाद हाथ में थोड़ा सा घी लेकर चिकना करें और गुंथे हुए चावल के आटे की छोटी-छोटी लोई बनाकर हथेली पर रखें। दूसरे हाथ से अंगूठे और उंगलियों की सहायता से उसके किनारों को पतला करते हुए बढ़ाते जाये। आटे की लोई के बीच में हल्का से डीप करते हुए उसमें 1 छोटी चम्मच पिट्ठी डालकर उसें गोल-गोल घुमाते हुए बंद कर दें। इसी तरह से बाकि आटे के मोदक भी बनाकर तैयार कर लें।
- अब एक बड़े और चौड़े से बर्तन में 2 गिलास पानी डाल कर गर्म करने के लिए रखें और भाप आने पर मोदक को जाली के स्टैन्ड पररखकर 10-12 मिनट तक पकने के लिए रख दें। थोड़े समय के बाद आप जब बर्तन से ढक्कन के हटायेगें तो मोदक भाप में पककर काफी चमकदार से लगने लगेंगे। इसका मतलब आपके मोदक बनकर तैयार है।
- अब इन्हें एक प्लेट में निकालकर अपने गणेश की जो भोग लगाएं और सभी को बांटकर खुशी का पर्व मनाए।