कर्मों का फल प्रदान करने वाले शनिदेव के हर मंदिरों में श्रृधालुओं की भारी भीड़ होती है। लोग इस दिन शनिदेव को तेल चढ़ाकर उन्हें खुश करने का प्रयास करते है। जो लोग हर शनिवार को नियमित रूप से तेल चढ़ाते हैं, उन्हें साढ़ेसाती और ढय्या में भी शनि की कृपा प्राप्त होती है। लेकिन शनिदेव को तेल अर्पित करने से पहले कुछ ऐसी बाते है जिन्हें लोग ना जानने के कारण इसका पूर्ण फल प्राप्त नही कर पाते है। और संकटों का सामना करना पड़ता है। आज हम आपको बता रहे है शनि देव को तेल चढ़ाते समय ध्यान रखनी चाहिए ये खास बातें…
अगर इन बातों को ध्यान में रखते हुए शनिदेव को तेल चढ़ाया जाए तो वे जल्दी प्रसन्न होते हैं और भक्त की दुर्भाग्य से रक्षा करते हैं।
पहली बात
शनिदेव को हमेशा तेल शीशी या दिया में रखकर नही बल्कि लोहे के पात्र से ही तेल चढ़ाना चाहिए। कांच, तांबा या स्टील की कटोरी से तेल चढ़ाने पर उसका पूरा लाभ नहीं मिलता।
दूसरी बात
शनिदेव को जो तेल आप चढ़ाते है, वह पूरी तरह शुद्ध होना चाहिए। इसलिए मंदिर के बाहर मिलने वाले तेल को खरीदने की बजाय आप अपने घर से तेल लेकर जाएं तो ज्यादा शुभ रहेगा।
तीसरी बात
तेल चढ़ाने से पहले तेल आप उस तेल में अपना चेहरा जरूर देख लेना चाहिए। ऐसा करने से शनि के सभी दोषों से जल्द मुक्ति मिल सकती है।
चौथी बात
शनि देव को तेल चढ़ाते समय शनिदेव के चेहरे की अपेक्षा पैरों के दर्शन करना चाहिए। भगवान के पैरों के दर्शन करते हुए तेल अर्पित करना बहुत शुभ माना जाता है।
पांचवीं बात
शनिदेव को तेल अर्पित करने के साथ ही अपनी इच्छा अनुसार धन का दान भी करना चाहिए। ये दान आप शनि मंदिर में या किसी जरूरतमंद व्यक्ति को कर सकते हैं।